सलेमपुर सीट पर बीजेपी की हार, फूट कर रोया कार्यकर्ता
देवरिया, ब्यूरो (ओ पी श्रीवास्तव)। देवरिया जिले में ट्रिपल इंजन की सरकार होने के बावजूद एक संसदीय सीट का भाजपा की हार भाजपाइयों के लिए हृदयविदारक घटना है। कल मंगलवार को शहर के महाराजा अग्रसेन इन्टर मीडिएट कालेज में शाम को करीब 6ः00 बजे मतगणना में शामिल एक भाजपा कार्यकर्ता को जब यह पुख्ता जानकारी मिल गई कि सलेमपुर से रविंद्र कुशवाहा चुनाव हार गए हैं तो उस कार्यकर्ता का चेहरा अत्यंत मायूस हो गया और वह जोर-जोर से रोने लगा।
मीडिया गैलरी में बैठे संवाददाता के यह कहने पर कि चुनाव में हार जीत तो लगी रहती है उस भाजपा कार्यकर्ता ने जवाब दिया कि अब हम कैसे मुंह दिखाएंगे? उस भाजपा कार्यकर्ता ने कहा कि हम लोगों को सौ प्रतिशत विश्वास था कि इस बार भाजपा 400 के पार जाएगी। लेकिन हम लोगों की कहीं ना कहीं कोई कमी रह गई जिसे हम जान नहीं पाए और उसी का नतीजा है कि हम हार गए। इससे ठीक पहले शहर के दूसरे मतगणना स्थल डी एस एस स्कूल पर जब यह संवाददाता पहुंचा तो वहां पर देवरिया संसदीय क्षेत्र के विजई प्रत्याशी शशांक मणि से मुलाकात हो गई। शशांक मणि से ही संवाददाता ने जब यह पूछा कि भाजपा के बड़े-बड़े नेताओं का दावा था कि वह 400 के पार जाएंगे लेकिन ऐसा क्या हो गया की आपको भी 50000 से कम वोट से जीत मिली।
इस प्रश्न पर उनका चेहरा अत्यंत मलीन हो गया और उन्होंने इस अप्रत्याशित सवाल का जवाब देते हुए कहा कि भाई हमने तो अपनी जिम्मेदारी पूरी कर दी है। शेष लोगों के बारे में मैं क्या कह सकता हूं। इस संवाददाता ने मतगणना स्थल के बाहर मौजूद कुछ लोगों से भाजपा की इस दुर्दशा पर जब उनके मन की बात को टटोलना चाहा तो जनता जनार्दन की प्रतिक्रियाएं निम्न प्रकार से थी। एक व्यक्ति ने कहा कि महर्षि देवरहा बाबा मेडिकल कॉलेज देवरिया में चिकित्सा सुविधा में भारी लापरवाही तथा दवाओं की अनुपलब्धता एवं प्रधानाचार्य एवं सीएमएस के भ्रष्टाचार ने भी यूपी और बिहार के सीमावर्ती लोगों को भाजपा के प्रति आक्रोश पैदा किया है।
उल्लेखनीय है कि यह मेडिकल कॉलेज देवरिया में जिला अस्पताल को तोड़कर बनाया गया है। देवरिया में जिला अस्पताल का अस्तित्व नहीं है। यहां पर बिहार और उत्तर प्रदेश के सैकड़ो मरीज प्रतिदिन आते हैं तथा लापरवाही एवं बद इंतजामी के लिए प्रदेश सरकार को जिम्मेदार ठहराते हुए कोसते हुए चले जाते हैं। एक अन्य देव तुल्य नागरिक ने कहा कि जमीन से सम्बन्धित विवादों में पुलिस एवं तहसील के कर्मचारियों द्वारा सालों साल तक मामले को लम्बित रखें जाने से गांव गरीब किसान और आम जनता जब त्राहि-त्राहि करने लगे तो कमल का फूल कैसे खिलेगा। उसने रूद्रपुर तहसील के फतेहपुर में घटित घटना का उल्लेख किया तथा पूर्ण रूप से जम्मेदार जिलाधिकारी और पुलिस अधीक्षक पर किसी प्रकार की कार्रवाई नहीं किए जाने से आक्रोशित दिखा। इसी परिप्रेक्ष्य में एक बुजुर्ग व्यक्ति ने बताया कि देवरिया के एस पी साहब से जब कोई व्यक्ति मिलने जाता है तो पता नहीं क्या सोचकर एसपी साहब मिलने वाले व्यक्ति का मोबाइल फोन बाहर बैठे पुलिस कर्मियों के पास जमा करवा देते हैं।
उस व्यक्ति ने समस्त नाकामियों का ठीकरा प्रदेश सरकार पर थोपते हुए यह भी कहा कि देवरिया जिले के प्रशासनिक अधिकारियों ने भी लोगों का मोबाइल बजने पर उनको प्रापर रिस्पांस नहीं देते हैं। चपरासी और वाहन चालक को मोबाईल सेट पकड़ा कर बेफिक्र हो जातें हैं। जिसकी शिकायत डिप्टी सीएम केशव मौर्य से लोगों ने उनके देवरिया आगमन पर किया था। लेकिन किसी के कान पर जूं तक नहीं रेंगा। इस प्रशासनिक दुर्व्यवस्था ने भी आमजन को काफी निराश किया है। उस बुजुर्गवार व्यक्ति ने सुझाव दिया कि राम का मंदिर बनाने से नहीं राम राज्य की स्थापना से भाजपा का कल्याण होगा। अभी भी समय है भाजपा नेतृत्व को इस विषय में संज्ञान लेकर कार्रवाई करनी चाहिए।
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