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झारखंड में बीजेपी के 18 विधायक सस्पेन्ड

झारखंड में बीजेपी के 18 विधायक सस्पेन्ड




यूपी डेस्कः झारखंड में भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के 18 विधायकों को दो अगस्त दोपहर दो बजे तक के लिए विधानसभा से निलंबित कर दिया गया। सदन से बाहर जाने से इनकार करने के बाद उन्हें मार्शलों की मदद से बाहर निकाल दिया गया। विधानसभा अध्यक्ष रबींद्र नाथ महतो ने एक दिन पहले मार्शलों द्वारा विपक्षी विधायकों को बाहर निकाले जाने के विरोध में सदन में हंगामा करने के बाद भाजपा सदस्यों के खिलाफ कार्रवाई की। 


ये विपक्षी विधायक बुधवार को रोजगार समेत विभिन्न मुद्दों पर उनके प्रश्नों का जवाब देने से मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन के इनकार के खिलाफ आसन के समक्ष प्रदर्शन कर रहे थे। महतो ने कहा कि उन्हें भाजपा के 18 विधायकों को निलंबित करने के लिए मजबूर होना पड़ा क्योंकि उन्होंने गुंडागर्दी की और सदन की मर्यादा का उल्लंघन किया। उन्होंने पत्रकारों से कहा कि भाजपा विधायकों ने पुरुष और महिला मार्शलों से दुर्व्यवहार किया और सदन के भीतर से सोशल मीडिया मंच पर वीडियो अपलोड कर नियमों का उल्लंघन किया। उन्होंने कहा, ‘‘मैं भाजपा विधायकों के आचरण से बहुत दुखी हूं। यह झारखंड के 24 साल के इतिहास में एक काला दिन है।’’


विपक्ष के नेता अमर कुमार बाउरी ने आरोप लगाया कि झारखंड में तानाशाही है क्योंकि भाजपा विधायकों ने सदन में बम नहीं फेंके जैसा कि 1929 में दिल्ली विधानसभा में क्रांतिकारियों ने किया था, बल्कि उन्होंने महात्मा गांधी के अहिंसक मार्ग का अनुसरण किया। उन्होंने यह भी आरोप लगाया कि झारखंड मुक्ति मोर्चा (झामुमो) सरकार के कहने पर भाजपा विधायकों के खिलाफ कार्रवाई की गयी है। विपक्षी दल भाजपा और ऑल झारखंड स्टूडेंट यूनियन (आजसू) पार्टी के विधायकों को मार्शल ने देर रात सदन से बाहर निकाल दिया था। दूसरे दिन भाजपा विधायक सदन की कार्यवाही शुरू होने से पहले आसन के समीप आ गए और उन्होंने मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन का इस्तीफा मांगते हुए नारे लगाए। 


उन्हें आसन के समक्ष कुछ दस्तावेजों को फाड़ते हुए भी देखा गया। हंगामा जारी रहने पर महतो ने 18 भाजपा विधायकों को निलंबित कर दिया। जब उन्होंने निलंबित होने के बाद भी सदन से बाहर जाने से इनकार कर दिया तो अध्यक्ष ने मार्शलों को बुलाया जिन्होंने विपक्षी सदस्यों को बाहर निकाला। अध्यक्ष ने कहा कि विधानसभा की आचार समिति मामले की जांच करेगी और एक सप्ताह के भीतर उन्हें एक रिपोर्ट सौंपेगी। इसके बाद उन्होंने सदन की कार्यवाही स्थगित कर दी। भाजपा विधायकों ने विधानसभा के बाहर पत्रकारों से कहा कि अध्यक्ष ने राज्य में झारखंड मुक्ति मोर्चा (झामुमो) नीत सरकार के इशारे पर लोकतंत्र की ‘‘हत्या’’ कर दी। विपक्ष के नेता अमर बाउरी ने दावा किया कि गुरूवार की कार्रवाई दिखाती है कि राज्य सरकार एक तानाशाह बन गई है।

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