सेवानिवृत्त कर्मचारी व पेंशनर्स ने जताया पेंशनरी रूल का विरोध
बस्ती, 15 जुलाई। सेवानिवृत्त कर्मचारी, शिक्षक एवं पेंशनर्स एसोसियेशन बस्ती शाखा की ओर से कलेक्ट्रेट पर धरना प्रदर्शन कर केन्द्र सरकार द्वारा पेंशनरी रूल में किये गये परिवर्तन का जोरदार विरोध दर्ज कराया गया। धरना प्रदर्शन में माध्यमिक शिक्षक संघ, उ.प्र., प्राथमिक शिक्षक संघ, उ.प्र. तथा विकास भवन कर्मचारी संघ के समर्थन से प्रधानमंत्री एवं मुख्यमंत्री को सम्बोधित ज्ञापन उप जिलाधिकारी न्यायिक राजेश कुमार यादव को सौंपा गया।
कार्यक्रम का संचालन जिला मंत्री उदय प्रताप पाल ने व अध्यक्षता राधेश्याम त्रिपाठी ने किया। सेवानिवृत्त कर्मचारी एवं पेंशनर्स एसोसियेशन के जिलाध्यक्ष नरेन्द्र बहादुर उपाध्याय ने कहा कि केन्द्र सरकार द्वारा पेंशनरी रूल में किया गया बदलाव स्वीकार नही किया जायेगा। सेवानिवृत्त कर्मचारी एवं पेंशनर इसको लेकर आन्दोलित हैं। मंगलवार को देश के सभी जिलाधिकारी कार्यालयों पर जोरदार प्रदर्शन कर इसमें सुधार किये जाने की मांग किया, साथ ही आठवें वेतन आयोग के अध्यक्ष की नियुक्ति की मांग प्रमुखता से उठाई गयी।
जिलाध्यक्ष ने स्कूल मर्जर के फैसले को शिक्षा के अधिकार के साथ भद्दा मजाक बताया और कहा सुप्रीम कोर्ट को इस मामले को सज्ञान लेना चाहिये। उन्होने कहा स्कूलों को बंद करने वाली यह पहली सरकार है। इंजी. रामचन्द्र शुक्ल ने कहा पिछली सरकार में राज्य कर्मचारियों तथा सेवानिवृत्त कर्मचारियों, पेंशनर्स का डीए और डीआर एक साथ आता था लेकिन मौजूदा सरकार पहले कर्मचारियों का भुगतान करती है इसके बाद सेवानिवृत्त कर्मचारियों, पेंशनर्स का आता है। सत्यनाम सिंह, रामुसरेश पाण्डेय ने कहा सेवानिवृत्त कर्मचारियों, पेंशनर्स की मागें जायज हैं और उनके अधिकारों से जुड़ी हैं। इसमे सरकार की मनमानी नही चलेगी। एसोसियेशन हर स्तर की लड़ाई लड़ेगा। धरने में पहुंचकर कांग्रेस नेता डा. आलोक रंजन वर्मा ने अपना समर्थन दिया और मागों को जायज ठहराया।
उक्त जानकारी देते हुये एसोसियेशन के मीडिया प्रभारी डा. एलके पाण्डेय ने कहा श्रीनाथ मिश्र, डा. एलके पाण्डेय, उमेश चन्द्र श्रीवास्तव, चन्द्रप्रकाश पाण्डेय, अरूण कुमार पाण्डेय, प्रेमशंकर लाल श्रीवास्तव, विश्वदेव दूबे, सुनील कुमार पाण्डेय, उदयशंकर शुक्ल, अनिरूद्ध त्रिपाठी, मारकण्डेय सिंह, अशोक कुमार मिश्र, रामअधार पाल आदि ने भी अपने विचार व्यक्त किये। जिला मंत्री उदय प्रताप पाल ने कहा धरना प्रदर्शन में लोगों की संख्या और एकजुटता रेखांकित करती है कि हमारी मागों पर सरकार को विचार करना ही पड़ेगा। कार्यक्रम की अध्यक्षता कर रहे राधेश्याम त्रिपाठी ने कहा हमे अपने अधिकारों के लिये पूरी एकजुटता से लड़ना होगा। उन्होने धरना प्रदर्शन में शामिल सभी पेंशनर्स व कर्मचारियों को धन्यवाद ज्ञापित किया।
भेजे गये ज्ञपान में मांगों में प्रमुख रूप से फाइनेंसियल बिल 2025 के माध्यम से पेंशनरी रूल में किये गये बदलावों को निरस्त कर पेंशनरों को फाइनेंसियल एक्ट 2025 के वैलीडेशन क्लाज के अनुसार संरक्षण दिये जाने, वेतन आयोग के गठन की कार्यवाही पूर्ण कर नियम एवं शर्तो में पेंशन के पुनरीक्षण का विषय भी संदर्भित किये जाने, कर्मचारियों, शिक्षकों एवं पेंशनरों के महंगाई भत्ते का शासनादेश की तिथि को ही जारी किये जाने, देश में एनपीस, यूपीएस के स्थान पर कर्मचारियों एवं शिक्षकों को परिभाषित लाभ पेंशन योजना ओपीएस ही प्रदान किये जाने, पेंशन के राशिकरण की हो रही कटौती 15 वर्ष से घटाकर 10 वर्ष किये जाने, कोरोना काल का कर्मचारियों, शिक्षकों एवं पेंशनर्स के रोके गये 18 माह के डीए के एरियर का भुगतान तत्काल कराये जाने तथा विद्यालयों को मर्ज करने से रोके जाने की मागें शामिल हैं।
धरना प्रदर्शन में प्रमुख रूप से सुरेशधर दूबे, जय प्रकाश सिंह, सूर्यबली सिंह, रामबहाल मिश्रा, श्रीगोपाल त्रिपाठी, सुरेन्द्र नाथ उपाध्याय, मो. कमाल, सुभाष चन्द्र श्रीवास्तव, ओमप्रकाश मिश्र, राजाराम मिश्र, भगवानदास, जवाहरलाल यादव, मुनीश कुमार, रामधीरज यादव, श्यामधर सोनी, रामकुमार पाल, मनोज कुमार श्रीवास्तव, रामकुमार लाल, राधेश्याम तिवारी, गणेशदत्त शुक्ल उदयराज वर्मा, इस्लाम अंसारी, केपी दूबे, छोटेलाल यादव, जंगबहादुर, मुनीश चन्द्र श्रीवास्तव आदि उपस्थित रहे।
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